ये देश आपको सदैव याद रखेगा ....


आज पूरा देश निशब्द है सुषमा जी का इस तरह से आकस्मिक जाना हम सब के लिए एक सदमें की तरह है | सच कहूं तो मुझे अभी भी यकीन नहीं हो रहा कि वो हँसता-मुस्कुराता चेहरा अब हमारे बीच नहीं रहा | सुषमा जी का लंबा-चौड़ा राजनीतिक जीवन देश के  लिए तो था ही पर अपनी मृत्यु से कुछ घंटे पहले तक भी उन्हें देश का ही ख्याल रहा, और इसी लिए उन्होंने अपने आखरी ट्यूट में कश्मीर से  धारा 370 के हटाए जाने पर लिखा कि 'मैं अपने जीवन में इस दिन को देखने की प्रतीक्षा कर रही थी' और अब उनकी मृत्यु के बाद एसा लग रहा है कि शायद सच में वो इसी दिन की प्रतीक्षा में हों |
सुषमा जी आपका राजनीतिक जीवन उस रास्ते के समान है जिस पर चल कर बहुत से भावी राजनेता अपनी मंज़िल तक पहुँचेंगें |  पर एक महिला के तौर पर आपका सम्पूर्ण जीवन ही हम जैसी लड़कियों के लिए मार्गदर्शन है | गैर राजनीतिक  परिवार में जन्मी अंबाला जैसे छोटे शहर में पली-बढ़ी एक लड़की 70 और 80 के उस दौर में  भारतीय राजनीति में प्रवेश करती है जब बिना परिवारवाद  के राजनीति में आना और अपनी पहचान बनाना लगभग एक महिला के लिए असंभव हुआ करता था | आपने अपनी प्रतिभा के बल पर न सिर्फ राजनीति में अपनी एक खास जगह बनाई बल्कि लोगों के दिलों में भी हमेशा के लिए बस गयी |
आप देश की हर उस लड़की के लिए प्रेरणा श्रोत है जो सपने देखती है और उन्हें पूरा करने की ज़िद रखती है क्यों कि अगर अंबाला जैसे छोटे शहर से निकल कर एक लड़की अपनी काबलियत के बल राजनीति की दुनिया का चमकता सितारा बन सकती है तो आप और हम क्यों नहीं ?
कहते है कि आपने अपनी जिंदगी किस तरीके से जी इस बात का पता इस रूप में चलता है कि आपके जाने के बाद ये दुनिया आपको किस तरह से नाद रखती है और सुषमा जी आपका जाना तो हर भारतीय के लिए उसके परिवार से किसी बुर्जुग के चले जाने के समान है | आप भले ही अब हमारे बीच न हों पर आपका योगदान ये देश   सदैव याद रखेगा |

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